Chhapra News: सारण SSP ने मांझी SHO समेत 3 पुलिसकर्मियों को किया सस्पेंड, पब्लिक से मारपीट के बाद हुई कार्रवाई
आमजनता से मानमानी और मारपीट भारी पड़ी

छपरा। सारण जिले के मांझी थाना क्षेत्र में पुलिस की कथित मनमानी व आम नागरिकों के साथ दुर्व्यवहार का मामला सामने आने के बाद वरीय पुलिस अधीक्षक ने कड़ा रुख अपनाते हुए थानाध्यक्ष सहित तीन पुलिस पदाधिकारियों को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया है।
यह कार्रवाई आवेदिका की शिकायत, वीडियो फुटेज और अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी (एकमा) द्वारा प्रस्तुत जांच रिपोर्ट के आधार पर की गई है। निलंबित अधिकारियों में थानाध्यक्ष अमित कुमार, पु०अ०नि० विपुल कुमार सिंह और प्र०पु०अ०नि० आरती कुमारी शामिल हैं।
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क्या है पूरा मामला?
दिनांक 14 जून 2025 को एक महिला आवेदिका ने वरीय पुलिस अधीक्षक, सारण को लिखित आवेदन देकर मांझी थाना पुलिस द्वारा परिवार के साथ मारपीट और जबरन थाने ले जाने जैसे गंभीर आरोप लगाए थे।
इस मामले की गंभीरता को देखते हुए एसपी ने जांच का आदेश अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी (सदर-2, एकमा) को दिया। जांच में कई चौंकाने वाले तथ्य सामने आए: प्र०पु०अ०नि० आरती कुमारी, मांझी थाना में पदस्थापित, पिछले एक साल से आवेदिका के मकान में किरायेदार के रूप में रह रही थीं। पूर्व में उसी परिवार से जुड़े एक अपहरण कांड (कांड सं. 273/22) की जांच भी उन्हीं के जिम्मे थी। जांच के बाद मतभेद शुरू हो गए और आवेदिका परिवार ने किराए का कमरा खाली करने का दबाव बनाना शुरू किया। 13 जून को इसी मुद्दे पर आवेदिका के देवर और महिला पुलिस पदाधिकारी के बीच विवाद हुआ, जिसकी सूचना मांझी थाने को दी गई।
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थानेदार बिना जांच के पहुंच गए दबिश देने
सूचना मिलते ही थानाध्यक्ष अमित कुमार, पु०अ०नि० विपुल कुमार सिंह और अन्य पुलिस बल के साथ मौके पर पहुंचे। जांच किए बिना ही पुलिस ने अरुण कुमार और मोनू कुमार नामक दो लोगों को बलपूर्वक थाने ले जाकर, उनके खिलाफ गंभीर धाराओं में प्राथमिकी दर्ज की।
प्राथमिकी संख्या 209/25 में भारतीय न्याय संहिता (BNS) की धारा-115(2), 126(2), 132, 109, 76, 351(2)(3) आदि शामिल की गईं, जिससे यह केस अत्यधिक संगीन बना दिया गया।
वीडियो फुटेज से खुली पोल
आवेदिका द्वारा प्रस्तुत वीडियो फुटेज से यह प्रमाणित हुआ कि पुलिस ने परिवार के साथ अभद्र व्यवहार और बल का अनुचित प्रयोग किया। जांच में यह भी पाया गया कि आरती कुमारी ने मामले को बढ़ा-चढ़ाकर प्रस्तुत किया और थाने में जानबूझकर संगीन धाराएं जोड़ी गईं।
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पुलिस की छवि पर पड़ा असर, तत्काल निलंबन
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक ने स्पष्ट किया कि आम नागरिकों के साथ सम्मानजनक व्यवहार सुनिश्चित करने को लेकर पुलिस मुख्यालय से स्पष्ट निर्देश दिए गए हैं। इसके बावजूद इस मामले में निर्देशों की अवहेलना और पुलिस की छवि को धूमिल करने वाली हरकतें की गईं। एसपी के आदेश पर तीनों अधिकारियों को तत्काल प्रभाव से निलंबित करते हुए, 5 दिनों के भीतर स्पष्टीकरण मांगा गया है।