
नई दिल्ली/पटना। केंद्रीय कैबिनेट ने बिहार में बक्सर-भागलपुर हाई-स्पीड कॉरिडोर के मोकामा-मुंगेर खंड के निर्माण को मंजूरी दे दी है। यह परियोजना 4-लेन ग्रीनफील्ड एक्सेस-कंट्रोल्ड सड़क होगी, जिसे हाइब्रिड एन्युइटी मोड (HAM) पर बनाया जाएगा। कुल 82.4 किलोमीटर लंबी इस परियोजना पर 4447.38 करोड़ रुपये की लागत आएगी।
किन-किन इलाकों से गुजरेगा कॉरिडोर
यह खंड मोकामा, बड़हिया, लखीसराय, जमालपुर और मुंगेर जैसे महत्वपूर्ण क्षेत्रीय शहरों से होकर गुजरेगा या उन्हें बेहतर कनेक्टिविटी प्रदान करेगा।
मुंगेर-जमालपुर-भागलपुर इलाका पहले से ही औद्योगिक हब के रूप में विकसित हो रहा है। यहां आयुध कारखाना, प्रस्तावित रक्षा मंत्रालय का आयुध कॉरिडोर, जमालपुर का लोकोमोटिव वर्कशॉप और आईटीसी का खाद्य प्रसंस्करण उद्योग मौजूद है। भागलपुर वस्त्र उद्योग और भागलपुरी सिल्क के लिए जाना जाता है, और अब यहां वस्त्र इको-सिस्टम व लॉजिस्टिक्स हब विकसित हो रहा है बड़हिया क्षेत्र खाद्य पैकेजिंग, कृषि-गोदाम और प्रसंस्करण उद्योग के लिए उभर रहा है।
यात्रा समय होगा कम, रफ्तार होगी दोगुनी
- एक्सेस कंट्रोल्ड 4-लेन कॉरिडोर पर वाहनों की डिजाइन स्पीड 100 किमी/घंटा और औसत गति 80 किमी/घंटा रखी गई है।
- नए मार्ग से यात्रा का समय लगभग 1.5 घंटे तक कम हो जाएगा।
- टोल टैक्स प्रणाली लागू होगी और सड़क यात्री एवं मालवाहक वाहनों के लिए सुरक्षित, तेज और निर्बाध कनेक्टिविटी सुनिश्चित करेगी। यह परियोजना प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप से बड़े पैमाने पर रोजगार देगी।
रोजगार का प्रकार | अनुमानित मानव-दिवस |
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प्रत्यक्ष रोजगार | 14.83 लाख |
अप्रत्यक्ष रोजगार | 18.46 लाख |
आर्थिक गतिविधियों में तेजी आने से परियोजना क्षेत्र में अतिरिक्त रोजगार और निवेश के अवसर भी उत्पन्न होंगे।
भविष्य की दृष्टि से लाभकारी
यह हाई-स्पीड कॉरिडोर न केवल पूर्वी बिहार की औद्योगिक और कृषि क्षमता को नई दिशा देगा, बल्कि भागलपुरी सिल्क, खाद्य प्रसंस्करण, रेलवे वर्कशॉप और रक्षा उद्योग को भी राष्ट्रीय बाजार से तेजी से जोड़ेगा।