छपरा
छपरा जंक्शन पर कार्यरत दो रेल कर्मियों को उत्कृष्ट कार्य के लिए मिला “मैन ऑफ द मंथ” का आवार्ड

छपरा। पूर्वोत्तर रेलवे की महाप्रबंधक सुश्री माथुर ने महाप्रबंधक सभाकक्ष में आयोजित एक सम्मान समारोह में वाराणसी मंडल के चार कर्मचारियों को रेल संरक्षा के क्षेत्र में उल्लेखनीय योगदान के लिए ‘मैन ऑफ द मंथ’ घोषित किया। इन कर्मचारियों को नगद पुरस्कार और प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया गया।
सम्मानित कर्मचारियों के कार्य:
- मिथिलेश कुमार, ट्रैक मेंटेनर, छपरा जंक्शन:
छपरा कचहरी से छपरा जंक्शन के बीच पेट्रोलिंग के दौरान किमी 325/21-23 पर रेल फ्रैक्चर की पहचान की। उन्होंने तत्काल इसकी सूचना संबंधित पर्यवेक्षक को दी, जिससे समय रहते ट्रैक की मरम्मत संभव हो सकी। - मदन कुमार, तकनीशियन, छपरा कोचिंग डिपो:
27 जनवरी 2025 को गाड़ी संख्या 15115 के रोलिंग परीक्षण के दौरान एक कोच का प्राइमरी आउटर स्प्रिंग टूटा पाया। उन्होंने तुरंत पर्यवेक्षक को सूचित किया, जिसके फलस्वरूप कोच को रेक से अलग कर मरम्मत हेतु भेजा गया।
- राजन कुमार यादव, की-मैन, सीवान कचहरी स्टेशन:
29 दिसम्बर 2024 को गश्ती के दौरान किमी 8/14-15 पर ए.टी. वेल्ड में दरार देखी। उन्होंने तत्परता दिखाते हुए तुरंत जागलिंग कर ट्रैक को सुरक्षित किया, जिससे रेल यातायात निर्बाध रूप से चलता रहा और किसी भी दुर्घटना की आशंका टली। - नीलेश कुमार, कांटावाला, बैतालपुर स्टेशन:
14 फरवरी 2025 को समपार संख्या 135/ए सी पर कार्य करते हुए किमी 461/37 पर रेल पटरी टूटी हुई पाई। उनकी सतर्कता और त्वरित सूचना से इंजीनियरिंग विभाग ने समय पर ट्रैक की मरम्मत की, जिससे संभावित दुर्घटना टल गई।
मंडल रेल प्रबंधक, वाराणसी विनीत कुमार श्रीवास्तव ने इन सभी कर्मचारियों की सजगता और प्रतिबद्धता की सराहना करते हुए कहा कि इनका कार्य अन्य रेल कर्मचारियों के लिए प्रेरणास्रोत है। रेल प्रशासन ने एक बार फिर यह सिद्ध किया है कि उसकी प्राथमिकता यात्रियों की सुरक्षा और संरक्षा सुनिश्चित करना है।
advertisement
advertisement